पूर्ववर्ती भूपेंद्र सिंह हुड्डा सरकार के कार्यकाल में सक्रिय रहने वाले हरियाणा राज्य मानवाधिकार आयोग को वर्तमान कथित ‘ईमानदार’ मनोहर लाल खट्टर सरकार के द्वारा ठंढे बस्ते में डाल दिया गया है। इसके कारण राज्य में मानवाधिकार से जुड़े मामलों की सुनवाई लंबित है और इसका खामियाजा दलित, स्त्रियां और अल्पसंख्यक भुगत रहे हैं। सुभाष गाताडे की रिपोर्ट :