भागलपुर(बिहार) : बिहार प्रदेश दलित आदिवासी युवा मंच द्वारा दलितों, पिछड़ो, महिलाओं, आदिवासियों, मेहनतकशों के शोषण उत्पीडऩ को हिन्दू धर्म की आचार संहिता बनाने वाले ग्रन्थ मनुस्मृति का दहन आंबेडकर चौक के पास किया गया। इस मौके पर दलित आदिवासी महिलाओं के साथ बढते अपराध, उत्पीडन व हिंसा के खिलाफ तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय से स्टेशन चौक तक छात्रों, नवजवानों ने मार्च निकाला, मनुस्मृति दहन के पश्चात आयोजित नुक्कड़ सभा को संबोधित करते हुए युवा नेता ओम सुधा ने कहा कि ”मनुस्मृति में दर्ज विचार आज भी समाज में व्याप्त हैं।
इस तरह के प्रगति व दलित-आदिवासी-शूद्र-महिला विरोधी विचारों का घर समाज से सफाया करने की ज़रूरत है, तभी एक आधुनिक लोकतांत्रिक और मजबूत भारत का निर्माण संभव है।” इस मौके पर चन्दन दास, अजय राम, निर्भय ठाकुर, निशिकांत, पवन, राजेश, श्रवण, राहुल विकास समेत कई लोग उपस्थित थे।
(फारवर्ड प्रेस के फरवरी, 2015 अंक में प्रकाशित )
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