h n

घर बैठे पढ़ें फारवर्ड प्रेस की किंडल संस्करण किताबें

फारवर्ड प्रेस बुक्स की किताबें अब ई-बुक के रूप में उपलब्ध हैं। इन्हें घर बैठे बस एक क्लिक के जरिए खरीदकर पढ़ा जा सकता है। फारवर्ड प्रेस द्वारा इन किताबों को मूल कीमत से आधी से भी कम कीमत पर उपलब्ध करायी गयी है

दलितों, आदिवासियों व अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के सामाजिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक विषयों पर केंद्रित फारवर्ड प्रेस की किताबें अब ई-बुक के रूप में उपलब्ध हैं। इन किताबों को किंडल के जरिए घर बैठे लैपटॉप व मोबाइल पर आसानी से पढ़ा जा सकता है। खास बात यह कि एक बार भुगतान करने के बाद आप इसे अपने किंडल स्टोर में रख सकेंगे और इसका उपयोग सामान्य किताबों की तरह ही कर सकेंगे। फारवर्ड प्रेस द्वारा इन किताबों को मूल कीमत से कम कीमत पर उपलब्ध करायी गयी है। 

खरीदने के लिए पुस्तक की तस्वीर पर क्लिक करें

किताब का नाम (Title)पुस्तक की तस्वीर (Clickable covers)
The Case for Bahujan Literature (Edited by Ivan Kostka/Pramod Ranjan)
बहुजन साहित्य की प्रस्तावना (संपादन : प्रमोद रंजन/आयवन कोस्का)
महिषासुर: एक जननायक (संपादन : प्रमोद रंजन)
चिंतन के जनसरोकार (लेखक प्रेमकुमार मणि)
The Common Man Speaks Out (by Premkumar Mani)
जाति का विनाश (लेखक डॉ. भीमराव आंबेडकर, अनुवाद राजकिशोर)
Mahishasur: A People’s Hero (Edited by Pramod Ranjan)
महिषासुर : मिथक और परंपराएं (संपादन : प्रमोद रंजन)
जाति के प्रश्न पर कबीर (लेखक कमलेश वर्मा)
Dalit Panthers: An Authoritative History (by J. V. Pawar)
मदर इंडिया (लेखिका मिस कैथरीन मेयो, अनुवाद कंवल भारती)
आरएसएस और बहुजन चिंतन (लेखक कंवल भारती)
Forward Thinking: Editorials, Essays, Etc (by Ivan Kostka)
पेरियार जीवन दर्शन, चिंतन व सच्ची रामायण (पेरियार के मूल लेखों का चयनित संग्रह)
दलित पैंथर : एक आधिकारिक इतिहास (लेखक : ज. वि. पवार)
बिहार की चुनावी राजनीति : जाति-वर्ग का समीकरण (1990-2015)

गौरतलब है कि विश्व स्तर पर किंडल संस्करण की स्वीकार्यता बढ़ी है। इसकी एक बड़ी वजह यह है कि इसमें कागज का इस्तेमाल नहीं होता है और इस प्रकार यह पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देता है। किंडल संस्करण पुस्तकों की खासियत यह भी है कि इसे पाठकों की सुविधा के लिए खास तौर पर तैयार किया जाता  है। मसलन आप चाहें तो बुकमार्क का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके अलावा तकनीकी रूप से इन किताबों में दिए गए संदर्भों तक बस क्लिक कर जाया जा सकता है। 

फारवर्ड प्रेस द्वारा कुल 13 किताबों का ई-बुक संस्करण किंडल के जरिए उपलब्ध कराया गया है। इनमें अंग्रेजी और हिंदी दोनों भाषाओं की किताबें शामिल हैं। देखें पूरी सूची।

लेखक के बारे में

एफपी डेस्‍क

संबंधित आलेख

सावित्रीबाई फुले की कविताओं के इतिहासपरक संदर्भ
सावित्रीबाई फुले की कुशाग्रता का परिचय इतिहास की उनकी गहरी समझ से मिलती है। उन्होंने शूद्र शब्द का अर्थ ‘मूलवासी’ बताया है। वह कहती...
हिंदुत्व मुक्त भारत की ओर
तेलुगु-भाषी क्षेत्र के अपने अध्ययन पर आधारित कांचा आइलैय्या शेपर्ड की यह मूल अंग्रेजी कृति ‘पोस्ट-हिन्दू इंडिया : अ डिस्कोर्स ऑन दलित-बहुजन, सोशियो-स्पिरिचुअल एंड...
सावित्रीनामा : सावित्रीबाई फुले का समग्र साहित्यकर्म (जोतीराव फुले के भाषण सहित)
सावित्रीबाई फुले के साहित्य का यह संकलन ‘काव्यफुले’ (1854) से शुरू होता है, जिसके प्रकाशन के समय वे मात्र 23 वर्ष की थीं और...
पुनर्पाठ : सिंधु घाटी बोल उठी
डॉ. सोहनपाल सुमनाक्षर का यह काव्य संकलन 1990 में प्रकाशित हुआ। इसकी विचारोत्तेजक भूमिका डॉ. धर्मवीर ने लिखी थी, जिसमें उन्होंने कहा था कि...
कबीर पर एक महत्वपूर्ण पुस्तक 
कबीर पूर्वी उत्तर प्रदेश के संत कबीरनगर के जनजीवन में रच-बस गए हैं। अकसर सुबह-सुबह गांव कहीं दूर से आती हुई कबीरा की आवाज़...